Home Featured पीजी डॉक्टरों की हड़ताल से इमरजेंसी सहित डीएमसीएच की तमाम व्यवस्था चरमराई।
April 8, 2019

पीजी डॉक्टरों की हड़ताल से इमरजेंसी सहित डीएमसीएच की तमाम व्यवस्था चरमराई।

देखिये वीडियो भी।

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दरभंगा: डीएमसीएच के 308 पीजी डॉक्टर सोमवार से हड़ताल पर चले गए। इससे डीएमसीएच की इमरजेंसी सेवा तक ठप हो गयी है। मरीजों में हाहाकार मचा। करीब दो हजार से अधिक मरीज ओपीडी और इमरजेंसी वार्ड से बैरंग लौट गए। प्राचार्य ने सभी एचओडी और पीजी डॉक्टरों की बैठक की। जिसमें पीजी डॉक्टरों को हड़ताल समाप्त करने का आग्रह किया गया। लेकिन हड़ताली डॉक्टर नहीं माने। प्रभारी अधीक्षक डॉ. बालेश्वर सागर ने सीएस से 30 डॉक्टरों की मांग की है। दूरदराज के दो दर्जन से अधिक मरीज देर रात भर्ती होने को लेकर परिसर में आकाश के नीचे लेटे हुए हैं। इधर पीजी डॉक्टरों ने सुबह करीब नौ बजे ही ओपीडी और इमरजेंसी वार्ड में ताले जड़ दिए। हड़ताली डॉक्टरों ने अपनी मांगों के समर्थन में इमरजेंसी वार्ड के समक्ष नारे लगाए। बंद वार्डो के कारण विभिन्न जिलों से इलाज कराने आए मरीज बिलबिला रहे थे। गुस्साए मरीज और परिजनों ने इमरजेंसी वार्ड चौक को जाम कर नारे लगाने लगे। स्थिति गंभीर होते देख पुलिस बल घटनास्थल पर पहुंच गई। इधर गायनिक वार्ड में भी डिलीवरी रूम में सन्नाटा पसरा था। जेडीए के अध्यक्ष डॉ. अमित कुमार गुप्ता ने बताया कि मांगों के समर्थन में प्राचार्य और सरकार को 48 घंटे का पहले ही अल्टीमेटम दे दिया गया था। मांगों की पूर्ति नहीं होने पर हमलोग हड़ताल पर चले गए। इनकी मांगों में बिहार राज्य कोटा की सीटों पर एम्स के छात्रों का नामांकन पर रोक लगाने, आइजीआइएमएस की तर्ज पर पीजी के स्टाइपेंड 5 लाख 5 हजार 560 हजार से बढ़ाकर 70, 80 और 90 हजार मासिक करने, सीनियर रेजिडेंट की अधिकतम उम्र सीमा को बढ़ाकर 45 साल करने और पीजी डिग्री के बाद तय तीन साल के बांड को सीनियर रेजिडेंट में करने तथा इनकी पोस्टिग मेडिकल कॉलेज में ही करने शामिल है।

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