महिला की हत्या के जुर्म में आजीवन सश्रम कारावास।
दरभंगा: प्रथम अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश रमाकांत की अदालत ने सिमरी थाना क्षेत्र के शास्त्री चौक मुसहरी निवासी रामखेलावन सदा के बेटे रामदेव सदा को एक अनजान महिला की हत्या के जुर्म में आजीवन सश्रम कारावास और 50 हजार रुपए के अर्थदण्ड की सजा सुनाई है। अर्थदंड का भुगतान नहीं करने पर छह महीने की अतिरिक्त सजा भुगतनी पड़ेगी।
अपर लोक अभियोजक विष्णुकांत चौधरी ने बताया कि 3 सितंबर 2011 को शास्त्री चौक के निकट भवेश उपाध्याय के खेत में एक अज्ञात महिला की लाश बरामद हुई थी। महिला की कनपटी, गर्दन के नीचे तथा गला के पास जख्म के निशान थे। चौकीदार महेश पासवान के फर्द बयान पर थाना में कांड संख्या 140/2011 दर्ज कर अनुसंधान की जिम्मेदारी तत्कालीन पुलिस अवर निरीक्षक राकेश कुमार को सौंपा गई थी।
अनुसंधान के क्रम में रामदेव सदा को आरोपी बनाते हुए घटना के दिन ही गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। अनुसंधानकर्ता ने आरोप पत्र समर्पित करने के बाद आरोपी के विरुद्ध भादवि की धारा 302, 201, 376, 511 के तहत संज्ञान लिया गया था। 15 दिसंबर 2011 को प्रथम अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश की अदालत में सत्र वाद संख्या 551/ 2011 चला। आरोपी के विरुद्ध 3 सितंबर 2012 को भादवि की धारा 302, 376 व 210 के तहत आरोप गठन किया गया था। आरोप गठन के बाद 7 गवाहों की गवाही कराई गई जिसमें अनुसंधानकर्ता राकेश कुमार एवं चिकित्सक डॉ प्रफुल्ल कुमार दास का परीक्षण कराया गया। प्रथम अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश रमा कांत की अदालत ने रामदेव सदा को आजीवन सश्रम कारावास की सजा सुनाई है।
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